रेस्को मोड में विभाग को सोलर रूफटाॅप अपने सरकारी भवन पर लगाने में कोई वित्तीय व्यय वहन नही करना पडेगा: जिलाधिकारी
टेन न्यूज़ !! ३१ जुलाई २०२४ !! परभाष चन्द्र ब्यूरो, कन्नौज
रेस्को मोड में विभाग को सोलर रूफटाॅप अपने सरकारी भवन पर लगाने में कोई वित्तीय व्यय वहन नही करना पडेगा। इसका सम्पूर्ण कैपिटल व्यय यूपीनेडा द्वारा इम्पैनल्ड वेण्डर द्वारा वहन किया जाएगा। यह बात जिलाधिकारी श्री शुभ्रान्त कुमार शुक्ल ने कलेक्ट्रेट गांधी सभागार में यूपी नेडा की आयोजित समीक्षा बैठक के दौरान कही।
उन्होनें कहा कि स्थापित सोलर रूफटाॅप का आॅपरेशन मेन्टिनेन्स 25 वर्ष तक इम्पैनल्ड वेण्डर द्वारा किया जाएगा। विभाग को अपनी सरकारी बिल्डिंग की छत 25 वर्ष तक इस कार्य हेतु देना होगा। सरकारी बिल्डिंग का न्यूनतम लोड 25 कि0वा0 एंव अधिकतम लोड 2000 कि0वा0 होना चाहिए। रेस्को मोड में सोलर रूफटाॅप से उत्पादित विद्युत टैरिफ एवं उपभोग की हुई विद्युत के आधार पर मासिक बिल रेस्को डेवलपर को देय होगा। इस हेतु विभाग द्वार डेवलपर के साथ पावर परचेज एग्रीमंेट निष्पादित करना होगा।
श्री शुक्ल ने कहा कि विद्युत विभाग द्वारा सरकारी बिल्डिगों में आपूर्ति की गयी विद्युत की दर लगभग रू0 8 से 8.5 रू0 प्रति युनिट है। सोलर रूफटाॅप से 25 कि0वा0 से 200 कि0वा0 तक रू0 4.90 प्रति युनिट एवं 200 कि0वा0 से 2000 कि0वा0 तक रू0 4.85 प्रति युनिट दर आयेगी।
कहा कि समस्त सरकार एवं अर्द्धसरकारी बिल्डिंगों पर नेट मीटरिंग की सुविधा अनुमन्य है। अधिक सौर बिजली उत्पादन होने की दशा में इसे ग्रिड में संग्रहित/बेची जा सकती है। नेट मीटरिंग के अन्तर्गत सायं एवं रात में विभाग द्वारा उपयोग की गयी बिजली कर दिन में उत्पादित एवं ग्रिड में संग्रहित सौर बिजली के युनिट आपस में एडजेस्ट होगे, जिससे विभाग को बिजली बिल में कमी आएगी।
बैठक में जिला विकास अधिकारी, परियोजना अधिकारी/प्रभारी यूपी नेडा, जिला विद्यालय निरीक्षक, समस्त खण्ड विकास अधिकारी एंव संबंधित वेण्डर के प्रतिनिधि उपस्थित थे।